जयपुर में बौछारें तो कामां में गिरे ओले
अभी और कड़ाके की होगी ठंड
जयपुर (कासं.)। प्रदेश के कई जिलों में रविवार को भी मावठ हुई साथ ही कोहरा भी छाया रहा। राजधानी जयपुर, भरतपुर सहित कई जिलों में बौछारें पड़ीं। वहीं भरतपुर के कामां में ओले भी गिरे। अधिकतर स्थानों पर सुबह से ही घने बादल छाए रहे। हालांकि, शनिवार रात ज्यादातर स्थानों पर तापमान 10 डिग्री से ऊपर रहा।
मौसम विभाग के अनुसार सोमवार और मंगलवार को बीकानेर, चूरू सहित पांच जिलों में कोहरे का यलो अलर्ट है। वहीं चूरू, हनुमानगढ़ सहित 12 जिलों में हल्की व मध्यम बारिश का यलो अलर्ट है। वहीं अगले दो दिनों में न्यूनतम तापमान में तीन से पांच डिग्री तक गिरावट आने के आसार है। वहीं बुधवार को फिर ठंड लौटेगी। झुंझनू, चूरू सहित छह जिलों में शीतलहर चलने के आसार हैं।राजधानी जयपुर में जगतपुरा सहित आस-पास के क्षेत्र में शनिवार रात से बरसात हो रही है। जयपुर में सुबह से सूरज ने दर्शन नहीं दिए, सुबह शहर में घना कोहरा छाया रहा। अल सुबह राजधानी के कई इलाकों में रिमझिम बारिश शुरू हुई। बारिश से ठिठुरन बढ़ गई। ग्रामीण इलाकों में मावठ से किसानों के चेहरे खिले। जयपुर शहर और बाहरी इलाकों सहित बस्सी, जटवाड़ा, रायसर एवं विराटनगर के मेड क्षेत्र में सुबह मावठ की बरसात हुई है। शनिवार रात डबोक, बाड़मेर, एरन रोड, जैसलमेर, माउंटआबू, फलौदी, बीकानेर, चूरू, गंगानगर का तापमान 10 डिग्री से कम रहा वहीं सीकर में न्यूनतम तापमान 14.0 डिग्री तो सीकर जिले के फतेहपुर में 7.8 डिग्री, और जयपुर 15.0 डिग्री तापमान रहा। झुंझनू जिले के पिलानी में पारा 10.2 डिग्री रहा। अधिकांश स्थानों पर बादल छाए रहने के कारण रात के तापमान में राहत मिली है, लेकिन दिन में गलन भरी सर्दी रही। किसानों को मावठ की दरकार है। मावठ ठीक प्रकार होती है तो पानी की बचत हो जाएगी। जो करीब प्रति बीघा ढाई हजार रुपए है। मावठ से किसानों की रबी की फसल के लिए अमृत के समान है। यह मावठ फसल में खाद का काम करती है, जिससे फसल में अच्छी ग्रोथ आती है। जमीन में नमी हो जाने से पाला पडने की संभावना कम रहती है। सब्जियों में पाला पडऩे से लगे कीड़े भी मर जाते है।मौसम केंद्र, जयपुर के निदेशक राधेश्याम शर्मा के अनुसार वायुमंडल के ऊपरी स्तरों में एक पश्चिमी विक्षोभ चक्रवाती संचलन के रूप में फगानिस्तान और मध्य पाकिस्तान के ऊपर स्थित है। इसके थोड़ा पूर्व की ओर बढऩे की संभावना है और बाद के 3-4 दिनों के दौरान लगभग स्थिर रहेगा। वायुमंडल के निचले स्तरों में एक प्रेरित चक्रवाती परिसंचरण तंत्र दक्षिण-पश्चिमी राजस्थान और आसपास के क्षेत्र में स्थित है और अगले 2-3 दिनों के दौरान इसी क्षेत्र में बने रहने की संभावना है। उपरोक्त परिस्थिति के मध्य नजर आगामी तीन दिनों तक राजस्थान के भरतपुर, जयपुर, कोटा व बीकानेर संभाग के जिलों में हल्के से मध्यम दर्जे की बारिश व कहीं-कहीं ओलावृष्टि होने की भी संभावना है।